अपनी यादों से कहो कि एक दिन
कि छुट्टी दे हमें,
इश्क़ के हिस्से में भी इतवार होना चाहिए।
दूर हो जाने की तलब है तो शौक से जा... बस
याद रहे की मुड़ कर देखने की आदत इधर
भी नहीँ......
अपनी खुशीयां लुटा कर उस पे कुर्बान हो जाऊँ,
काश कुछ दिन उसके शहर में महमान हो जाऊँ,
वो अपना नायाब दिल मुझ को दे दें
...................और फिर वापस माँगे
मै मुक्कर जाऊँ और बेईमान हो जाऊँ
सुकून ऐ दिल के लिए कभी हाल तो पूँछ ही लिया करो,,,
मालूम हमें भी है कि हम आपके अब कुछ नहीं लगते.....
बुझा कर दुसरो के घर का चिराग अपना घर रोशन करते है,
मतलबी दुनियाँ वाले न जाने खुद को क्या समझते है__
राज तो हमारा हर जगह पे है…।
पसंद करने वालों के “दिल” में ; और
नापसंद करने वालों के “दिमाग” म
हमे तुमसे प्यार कितना ये हम नहीं जानते मगर जी नहीं सकते तुम्हारे बिना...√ luv u ```m`
एक उसूल पे चलती है जिंदगी अपनी.....
जो वफादार नहीं वो अपना यार नहीं.....
न जाने क्यों सभी शक करते हैं मुझपर!
जब सूखा गुलाब मेरी किताबों में मिलता ही नहीं ।
न जाने क्यों सभी शक करते हैं मुझपर!
जब सूखा गुलाब मेरी किताबों में मिलता ही नहीं ।
गुज़र गया आज का दिन भी पहले की तरह,
न हमको फुर्सत मिली न उन्हें ख्याल आया
हम #दुवा करते है की हमारे दुश्मन #जन्नत में जाए..!
सालें # नरक में आयेंगे तो....
हमारे हाथों दोबारा #मारे जायेंगे...
वो बेवफा हमारा इम्तेहा क्या लेगी…
मिलेगी नज़रो से नज़रे तो अपनी नज़रे ज़ुका लेगी…
उसे मेरी कबर पर दीया मत जलाने देना…
वो नादान है यारो… अपना हाथ जला लेगी.
याद तेरी आती है क्यो.यू तड़पाती है क्यो?
दूर हे जब जाना था.. फिर रूलाती है क्यो?
दर्द हुआ है ऐसे, जले पे नमक जैसे.
खुद को भी जानता नही, तुझे भूलाऊ कैसे?
हम से दूर जाओगे कैसे?
दिल से हमे भुलाओगे कैसे?
हम तो वो खुश्बू है
जो सांसो मे बसती है,
अपनी सांसो को रोक पाओगे कैसे?
तू मुहब्बत से कोई चाल तो चल, हार जाने का हौसला है मुझ में. .!!